sheikh hasina ne bangladesh kyu chhoda:बांग्लादेश की प्रधान मंत्री शेख हसीना ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है और बांग्लादेश छोड़ कर भारत आ गई हैं। सूत्रों के हवाले से बताया जा रहा हैं की कुछ दिन शेख हसीना भारत में रहेंगी उसके बाद लंदन के लिए रवाना हो जाएँगी। आइये जानते हैं शेख हसीना ने बांग्लादेश के प्रधान मंत्री पद से इस्तीफा क्यों दिया और वो भारत क्यों आ गई हैं बंगलदेश में इस वक़्त क्या हो रहा हैं पूरी जानकरी।
शेख हसीना ने बंगलादेश क्यों छोड़ा ?
sheikh hasina ne bangladesh kyu chhoda:दरअसल पिछले कुछ दिनों से बांग्लादेश के युवा कोटा सिस्टम और आरक्षण से जुड़ी मांग को लिकर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
बांग्लादेश के युवा लगातार शेख हसीना के इस्तीफे की मांग कर रहे थे। अभी तक इस विरोध प्रदर्शन में 100 से ज़्यादा लोगो की मौत हो चुकी हैं। प्रदर्शनकारियों का गुस्सा इस वक़्त चरम पर हैं प्रदर्शनकारी लगातार सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं । प्रदर्शनकारी लगातार सरकारी संपत्ति को निशाना बना रहे हैं यह तक की प्रदर्शनकारी संसद भवन में भी घुस गए हैं।
शेख हसीना ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए अपनी पूरी ताकत लगा दी थी। उन्होंने इंटरनेट सेवा बन करके पूरी देश में कर्फूय लगा दिया था। लेकिन इसके बाउजूद विरोध प्रदर्शन में कोई कमी नहीं आई बल्कि अचानक ये विरोध प्रदर्शन और भी घातक हों गया। लिहाज़ा अंत में शेख हसीना को इस्तीफा देकर देश छोड़ कर भागना पड़ा।
लिहाज़ा हम कह सकते हैं बांग्लादेश में हो रहे विरोध प्रदर्शन की वजह से शेख हसीना को प्रधानमंत्री पद से इश्तिफा देकर अपना देश छोड़ कर भागना पड़ा।
शेख हसीना ने इस्तीफा कब दिया
sheikh hasina ne istifa kab diya: प्रधानमंत्री शेख हसीना ने 5 अगस्त 2024 को देश में हो रहे विरोध प्रदर्शन की वजह से इश्तिफा दे दिया। और बंगलादेश छोड़ कर भारत आ गई।
अब बांग्लादेश का क्या होगा ?
शेख हसीना के इस्तीफे के बाद जनरल वाकर उस जमान ने एलान किया हैं की बंगलादेश में अंतरिम सरकार का गठन किया जायेगा।
बंगलदेश में विरोध प्रदर्शन क्यों हो रहा है?
दरअसल बंगलादेश में स्वतंत्र स्वतंत्रता संग्राम के दौरान फ्रीडम फाइटर्स के परिवारों को सरकारी नौकरी में आरक्षण दिया गया था। इसी आरक्षण के खिलाफ बंगलदेश के काई छात्र गुटों ने आवाज़ उठाई। उनका कहना हैं की इस आरक्षण की वजह से जो सरकारी नौकरी के क़ाबिल हैं उन्हें सरकारी नौकरी नहीं मिल पा रही हैं। सरकारी नौकरी उन्हें ही मिल रही जिसे सरकार चाहती हैं लिहाज़ा ये आरक्षण खत्म होना चाहिए।
छात्रों की इसी मांग ने आज पुरे बंगलादेश में बवाल मचा दिया हैं। और आखिरकार बंगलादेश की सरकार को छत्रों ने गिरा दिया हैं। और लगातार सरकारी सम्पत्तियों को नुकसान पंहुचा रहे हैं। अब जनरल वाकर उस जमान ने एलान किया हैं की बंगलादेश में अंतरिम सरकार का गठन किया जायेगा। उन्होंने छात्रों से भी शांति बनाये रखने की गुज़ारिश की है साथ ही उन्होंने कहा की सभी को इंसाफ मिलेगा। अब देखते हैं आगे क्या होता हैं बांग्लादेश में दूसरी सरकार बन पति हैं या नहीं और सरकार बनने के बाद क्या होता हैं।
बंगलादेश में हो रहे विरोध प्रदर्शन से भारत पर असर ?
बांग्लादेश में हो रहे विरोध प्रदर्शन और राजनितिक उथल-पुथल से भारत पर काई संभावित प्रभाव पड़ सकते हैं:
सुरक्षा: अगर बंगलादेश के हालत और बिगड़ते हैं और हिंसा मज़ीद बढ़ती हैं तो इस सुरते हाल में भारत को अपनी सीमाओं को मज़ीद सुरक्षा प्रदान करना होगा। क्योंकि पूर्वी राज्यों में बढ़ती अवगम और सीमाओं पर आतंगवाद से निपटना पड़ सकता है।
व्यापर में दिक्कत: मौजूदा वक़्त मे भारत और बंगदेश के बिच व्यापारिक सम्बन्ध बहुत बेहतर थे। लेकिन अगर बंगलादेश के हलात खराब होते हैं तो इससे भारत और बांग्लादेश के दरमियान व्यपारिक सम्बन्ध पर भी बुरा असर पड़ेगा। जिससे दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं पर नकरात्मक असर पड़ेगा।
शरणार्थी संकट: अगर बंगदेश के हालात और ख़राब होते हैं तो इससे भारत की शरणार्थी संकट बढ़ सकती हैं क्योंकि हालात खराब होने पर बंगलादेश से शरणार्थियों की लहर भारत की ओर बढ़ सकती है , जिससे मानवता और संसाधनों पर दबाव बढ़ेगा।
राजनीती पर असर: शेख हसीना के दौर में भारत और बंगदेश के राजनीकित रिश्ते काफी अच्छे समझे जाते हैं लेकिन मौजदा बांग्लादेश की हालात की वजह से भारत और बांग्लादेश की राजनीकित रिश्तों पर भी गहरा असर पड़ेगा। खास करके पूर्वी रज्यों में , जहां बंगलादेशी शरणार्थियों की समस्या पहले से ही एक संवेदनशील मुद्दा है।
इन तमाम संभावित प्रभावों को मद्देनज़र , भारत सरकार को मौजूदा हालात पर नज़र बनाये रखना होगा और टाइम आने पर आवश्यक उपाय करने होंगे।